दोस्तों जैसा कि आप जानते हैं कि Cricket भारत का एक बेहद ही पॉपुलर और फेमस गेम है, Team India विश्व के किसी भी देश में Cricket खेलने जाए तो Team India के फैन भारी मात्रा में वहां देखने को मिल जाते है Cricket में यदि Team India को हराना हो तो दूसरी टीम को एक नेक्स्ट लेवल का प्रदर्शन करना पड़ जाता है।
Team India को उन्हीं की सरजमीं पर हराना किसी सपने से कम नहीं है। तो चलिए अब हम आपको Cricket World Cup 2011 से जुड़ी रोचक जानकारियां बताते हैं जिन्हें आप जानकर बेहद ही हैरान हो जाएंगे।
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Cricket World Cup 2011 से जुड़ी रोचक जानकारी
जब साल 2011 का World Cup भारत में आयोजित किया गया था, तभी से Cricket विशेषज्ञों का मानना था की यह World Cup team India ही जीतेगा और ऐसा हुआ भी। इस टूर्नामेंट में Team India हर एक प्लेयर ने उम्मीद से ज्यादा बेहतर प्रदर्शन किया जिसकी वजह से Team India यह World Cup जीतने में कामयाब रहा।
Cricket world cup 2011 की शुरुआत
पहला मुकाबला
19 फरवरी सन 2011 को Team India का पहला मुकाबला था बांग्लादेश के साथ, जो बांग्लादेश की होम ग्राउंड ढाका में ही खेला गया था। इसके साथ ही हम आपको यह भी बता दें कि बांग्लादेश और श्रीलंका वर्ल्ड कप की होस्ट टीम थी।
बांग्लादेश वह टीम थी जिसने साल 2007 के वर्ल्ड कप में Team India को बाहर का रास्ता दिखाया था, उस समय बांग्लादेश जैसी कमजोर टीम से Team India जैसी मजबूत टीम का हारना क्रिकेट जगत का एक बड़ा फेरबदल था। जिससे भारतीय Cricket प्रेमी बेहद निराश दिखाई दिए।
Team India को इस हार का बदला चुकाने का मौका 4 साल बाद साल 2011 में खेले गए world cup के पहले ही मैच में मिल गया। अपने घरेलू मैदान पर बांग्लादेश ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया।
इस वर्ल्ड कप में Team India की बैटिंग लाइनअप को सबसे मजबूत माना जा रहा था, जिसका सबूत आक्रामक बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने पहले ही मैच में दे दिया था। जब सहवाग ने बांग्लादेशी गेंदबाजों की धज्जियां उड़ाते हुए शानदार 175 रनों की पारी खेली।
सहवाग की इस पारी और युवा विराट कोहली के शतक की बदौलत Team India ने बांग्लादेश के खिलाफ 371 रनों का पहाड़ जैसा लक्ष्य रखा। बांग्लादेश की बल्लेबाजी को देखकर ही पहले से ही मैच का परिणाम लोगों को पता चल गया था, अंततः यह मैच भारत ने जीत लिया।
दूसरा मुकाबला
Team India का दूसरा मुकाबला था इंग्लैंड के साथ। इंग्लैंड की टीम भी उन टीमों में शामिल थी जो world cup जीतने की प्रबल दावेदार थे, Cricket प्रेमियों को पहले से ही मालूम था कि इन दो मजबूत टीमों के बीच मुकाबला काफी रोमांचक होगा।
जिसका गवाह बेंगलुरु का चिन्नास्वामी स्टेडियम बना, इस मैच में Team India ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया, पहले बल्लेबाजी करने उतरी Team India की ओर से इस बड़े मुकाबले में कई शतक देखने को मिले, इस मैच में Cricket के भगवान कहे जाने वाले सचिन तेंदुलकर ने 120 रन की शानदार शतकीय पारी खेली और उनके इस शतक के बदौलत Team India ने 338 रन बना डाले।
इसके जवाब में इंग्लैंड के कप्तान, कप्तान एंड्रयू स्ट्रॉस ने शानदार पारी खेलकर अपनी टीम को जीत की ओर अग्रसर किया, तेज गेंदबाज जहीर खान ने एंड्रयू स्ट्रॉस को LBW आउट करके Team India की इस मैच में वापसी करा ली, इंग्लैंड के कप्तान के आउट होते ही भारतीय गेंदबाजों ने इंग्लैंड की टीम पर निशाना साध लिया और यह मैच एक रोमांचक मोड़ पर आ पहुंचा।
जब आखिरी ओवर में इंग्लैंड को जीत के लिए 14 रनों की जरूरत थी तब ऐसा लग रहा था कि Team India ये मुकाबला आसानी से जीत जाएगी क्योंकि उस समय इंग्लैंड के नए बल्लेबाज खेल रहे थे, लेकिन अजमल खान शहजाब ने मुनाफ पटेल के तीसरी गेंद पर छक्का जड़कर सबको हैरान कर दिया और इंग्लैंड भी 50 ओवरों में 338 रन बनाने में कामयाब हुआ।
जिसकी वजह से यह मुकाबला टाई रहा, इस मैच में 158 रनों की शानदार पारी खेलने के कारण एंड्रयू स्ट्रॉस को मैन ऑफ द मैच का खिताब दिया गया था।
तीसरा मुकाबला
Team India का तीसरा मुकाबला था आयरलैंड से। आयरलैंड का Cricket में उतना नाम तो नहीं था फिर भी इसी वर्ल्ड कप में आयरलैंड ने इंग्लैंड को 3 विकेट से हरा दिया था।
इस मैच में पहले बल्लेबाजी करने उतरी आयरलैंड की टीम को भारत ने मात्र 207 रनों पर ही ढेर कर दिया था। युवराज ने इस मैच में शानदार गेंदबाजी करते हुए 10 ओवर में 31 रन देकर पांच विकेट लिए थे।
चौथा मुकाबला
इस वर्ल्ड कप में भारत का चौथा मुकाबला था नीदरलैंड से। इस मैच में सिक्सर किंग नाम से मशहूर युवराज सिंह ने ऑलराउंड प्रदर्शन दिखाया, पहले बल्लेबाजी करने उतरी नीदरलैंड की टीम को भारत ने 189 रनों पर ही ढेर कर दिया।
जिसमें युवराज सिंह ने गेंदबाजी में हाथ लगाते हुए दो विकेट लिए थे। नीदरलैंड के इस छोटे से टारगेट को जल्दी पूरा करने के चक्कर में भारत ने मात्र 99 रनों में ही अपने 4 विकेट गंवा दिए थे। लेकिन इस मैच में शानदार पारी खेलने वाले युवराज सिंह को मैन ऑफ द मैच हिसाब से नवाजा गया और युवराज सिंह के इसी शानदार प्रदर्शन की वजह से टीम इंडिया बेहद आसानी से यह मुकाबला जीत गई।
पांचवां मुकाबला
Team India का का पांचवां मुकाबला साउथ अफ्रीका से था, जो हर वर्ल्ड कप में वर्ल्ड कप जीतने की प्रबल दावेदार मानी जाती है लेकिन अफसोस यह टीम अब तक अपने शानदार Cricket इतिहास में वर्ल्ड कप को अपने नाम करने में नाकामयाब रही है।
World Cup 2011 में भारत को एकमात्र हार मिली थी और जो हार उसे इसी मैच में दक्षिण अफ्रीका के हाथों झेलनी पड़ी थी। इस मैच में वीरेंद्र सहवाग ने मात्र 66 गेंदों में 73 रनों की शानदार पारी खेली। वहीं सचिन तेंदुलकर ने 111 रनों की शानदार पारी खेलकर अपने वनडे करियर का एक और शतक जड़ा।
एक समय भारतीय क्रिकेट टीम का स्कोर शायद 350 करीब देखा जा रहा था, लेकिन D Steyn ने 5 विकेट लेकर साउथ अफ्रीका की इस मैच में वापसी कर ली जिसकी बदौलत साउथ अफ्रीका की इस वर्ल्ड कप में वापसी हुई और इस मैच में D Steyn को मैन ऑफ द मैच का खिताब दिया गया।
छटवा मुकाबला
इस World Cup 2011 में Team India का छटवा मुकाबला वेस्टइंडीज से था, लेकिन टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी टीम इंडिया को सचिन तेंदुलकर के रूप में पहला झटका जल्द ही लग गया, जब सचिन तेंदुलकर मात्रा 2 रन बनाकर आउट हो गए थे, तब भारतीय टीम को रन मशीन के नाम से मशहूर विराट कोहली को और सिक्सर किंग नाम से मशहूर युवराज सिंह ने संभाला था और भारत को एक और शानदार जीत दिलाई थी।
क्वार्टर फाइनल मैच
क्वार्टर फाइनल मैच में Team India का मुकाबला ऑस्ट्रेलिया से था। इस मैच में ऑस्ट्रेलिया ने 260 रन बनाए थे, इस दबाव भरी मैच को Team India ने 48 ओवर में ही हासिल कर एक आसान जीत दर्ज की।
सेमी फाइनल
क्वार्टर फाइनल मैच में ऑस्ट्रेलिया को हराने के बाद भारत का सेमी फाइनल मैच था पाकिस्तान से। इस वर्ल्ड कप में पहली बार भारत और पाकिस्तान आमने-सामने आए थे और वह भी सेमीफाइनल जैसे बड़े मुकाबले में, पाकिस्तान ने टॉस जीता और पहले बल्लेबाजी करने का निश्चय किया।
इस मैच में पाकिस्तान ने मास्टर ब्लास्टर को आउट करने के कई मौके गंवाए थे। इस मैच में टीम इंडिया केवल 260 रन ही बना पाई थी लेकिन लक्ष्य का पीछा करते हुए पाकिस्तान पर 231 रन ही बना पाई और इस तरह टीम इंडिया यह मुकाबला बेहद ही आसानी से जीत गई।
फाइनल मैच
World Cup 2011 का फाइनल मैच इंडिया और श्रीलंका के बीच था। आखिरकार वो मुकाबला आ ही गया था जिसका इंतजार सभी , Cricket प्रेमियों को था,
तारीख 2 अप्रैल 2011 मुंबई का वानखेड़े स्टेडियम में श्रीलंका ने टॉस जीता और श्रीलंका ने पहले बल्लेबाजी का फैसला किया। शानदार पारी खेलते हुए श्रीलंकाई टीम ने 50 ओवर में 274 रन बना दिए थे।
जो फाइनल जैसे बड़े मुकाबले में एक बेहद ही अच्छा रन स्कोर था। 275 रनों का पीछा करते हुए उतरी Team India की शुरुआत कुछ खास नहीं रही थी। अंत में Team India को जीत के लिए 11 बॉल्स पर 4 रनों की आवश्यकता थी, तब महेंद्र सिंह धोनी ने छक्का जड़कर इस मैच को और विश्वकप को Team India की झोली में डाल दिया।
इस तरह कप्तान धोनी और गौतम गंभीर की शानदार पारी की बदौलत Team India ने 28 साल के लंबे इंतजार के बाद World Cup 2011 जीत गई। इस मैच के जीतते ही सभी प्लेयर्स और Team India के फैंस जश्न में डूब गई।
World Cup 2011 जीतने की खुशी में कई भारतीय खिलाड़ी तो रोने लगे। World Cup 2011 जीतने के बाद भारतीय खिलाड़ियों ने सचिन तेंडुलकर को कंधे पर बिठाकर पूरे मैदान के चक्कर लगाने लगे थे और सचिन तेंदुलकर हाथ में तिरंगा लहराते हुए भीड़ में मौजूद सभी दर्शकों का धन्यवाद कर रहे थे।
इस मैच में चार बार मैन ऑफ द मैच बन चुके सिक्सर किंग युवराज सिंह को मैन ऑफ द टूर्नामेंट 2011 वर्ल्ड कप के खिताब से नवाजा गया था।
निष्कर्ष
तो दोस्तों हमारी आज की इस पोस्ट में हमने आपको World Cup 2011 से संबंधित ऐसे रोचक जानकारियां और पूरे वर्ल्ड कप का एक अनुभव आपको करा दिया है यदि आपने वर्ल्ड कप नहीं देखा है, तो आप हमारे इस पोस्ट को पढ़कर पूरे वर्ल्ड कप को बिल्कुल ही आसानी से अपने मस्तिष्क में इमेजिन करके देख सकते हैं।
धन्यवाद!